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HC से खट्टर सरकार को झटका, नूंह में रोकना पड़ा बुलडोजर ऐक्शन

नूंह

नूंह में हिंसा के बाद आरोपियों के घरों को तोड़ रहे बुलडोजर रोक दिए गए हैं। पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने सरकार को फटकार लगाते हुए बुलडोजर ऐक्शन पर तुरंत रोक लगाने का आदेश दिया है। इसके बाद नूंह के उपायुक्त ने ध्वस्तीकरण को रोक दिया है। हालांकि, इससे पहले प्रशासन ने होटल समेत करीब 100 मकान गिरा दिए और करीब 500 झुग्गियों को हटा दिया है। सरकार ने इन्हें अवैध बताते हुए कार्रवाई की है।

पिछले सप्ताह हुई हिंसा के बाद नूंह में हरियाणा सरकार की ओर से लिए गए बुलडोजर ऐक्शन का पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने स्वत: संज्ञान लिया। कोर्ट ने तोड़फोड़ की कार्रवाई को तुरंत रोकने का आदेश दिया। इसके बाद जिला प्रशासन ने भी अपनी कार्रवाई रोक दी है। डिप्टी कमिश्नर (डीसी) धीरेंद्र खड़गटा ने कहा कि प्रशासन ने ध्वस्तीकरण में जुटी टीमों को तुरंत काम रोकने को कहा गया है।

हाई कोर्ट कोर्ट ने तोड़फोड़ की कार्रवाई पर नाराजगी जाहिर की और बिना नोटिस दिए ध्वस्तीकरण किए जाने पर सवाल खड़े किए। कोर्ट ने सरकार को तुरंत इस कार्रवाई को रोकने को कहा। तोड़फोड़ रोकने के मामले में कोर्ट ने सरकार को नोटिस दिया है और आज ही दो बजे सरकार को अपना पक्ष रखने के आदेश दिए गए है। दो बजे मामले की सुनवाई होगी।

प्रशासन ने नूंह में ऐसे कई मकानों को ध्वस्त कर दिया है, जिनके ऊपर खड़े होकर उपद्रवियों ने 31 जुलाई को पथराव किया था। इनमें एक बहुमंजिला होटल भी शामिल है। रोहिंग्या मुसलमानों की एक बस्ती भी उजाड़ दी गई है। रविवार को भी दिनभर बुलडोजर जगह-जगह गजरते रहे। खेड़ा गांव के पास नल्हड़ मोड़ पर एक होटल को तोड़ दिया गया। आरोप है कि नूंह हिंसा के दौरान इस होटल से शोभायात्रा पर पथराव किया गया था। सोहना-अलवर हाईवे पर तिरंगा पार्क के पास बहुमंजिला इमारत में खुले कजारिया टाइल के शोरूम ओर की गई।

 

 

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