नई दिल्ली
शराब नीति में हुए कथित घोटाले के मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को प्रवर्तन निदेशालय ने सातवां समन जारी किया है. जांच एजेंसी ने दिल्ली सीएम से 26 फरवरी (सोमवार) को पेश होने के लिए कहा है. जांच एजेंसी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को सातवीं बार समन भेजकर पूछताछ के लिए तलब किया है. ED ने दिल्ली की निरस्त आबकारी नीति मामले में सीएम केजरीवाल से पूछताछ करना चाहता है. इससे पहले सीएम अरविंद केजरीवाल को 6 समन भेजे जा चुके हैं, लेकिन वह एक बार भी पूछताछ के लिए जांच एजेंसी के सामने पेश नहीं हुए. ED मनी लॉन्ड्रिंग के मामले को लेकर सीएम केजरीवाल से पूछताछ करना चाहती है. इस मामले में दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया और आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह जांच एजेंसी की हिरासत में हैं.
17 फरवरी को हुई सुनवाई के दौरान केजरीवाल वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए कोर्ट ने पेश हुए थे। इस दौरान उन्होंने कहा कि इस समय विधानसभा का बजट सत्र चल रहा है, इसलिए वह शारीरिक रूप से कोर्ट में पेश नहीं हो सके। हालांकि उन्होंने कहा कि अगली सुनवाई के दौरान वह कोर्ट में मौजूद रहेंगे। इसके बाद इस मामले में कोर्ट ने अगली सुनवाई के लिए 16 मार्च की तारीख तय कर दी।
पांच पॉइंट्स पर सीएम से होनी है पूछताछ
ईडी ने कोर्ट में बताया है कि वह पांच बिंदुओं को आधार बनाकर अरविंद केजरीवाल से पूछताछ करना चाहती है। ईडी के अनुसार जांच में पांच पॉइंट्स सामने आये हैं, जिसमें पहला हिया कि प्रोसीड ऑफ क्राइम के दौरान 338 करोड रुपए आम आदमी पार्टी तक पहुंचे हैं। दरअसल मनीष सिसोदिया की बेल पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान एनफोर्समेंट डायरेक्टरेट ने 338 करोड रुपए की मनी ट्रेल अदालत के सामने रखी थी। जिसमें यह साबित हो रहा था कि आबकारी नीति के दौरान शराब माफिया से 338 करोड रुपए आम आदमी पार्टी तक पहुंचा है। पार्टी के संरक्षक अरविंद केजरीवाल है इसलिए उनसे पूछताछ करना जरूरी है।
आरोपियों से केजरीवाल की हुई थी वीडियो कॉल
वहीं ईडी का दूसरा पॉइंट है कि आबकारी घोटाले के आरोपी इंडोस्पिरिट के डायरेक्टर समीर महेंद्रू ने पूछताछ में ईडी को बताया कि अरविंद केजरीवाल के बेहद करीबी विजय नायर ने उसकी मुलाकात फेस टाइम एप्प के जरिये अरविंद से करवाई थी। जिसमें अरविंद केजरीवाल ने उससे बोला था कि विजय नायर उसका आदमी है और उसे नायर पर भरोसा रखना चाहिए।
आबाकरी नीति की मीटिंग सीएम के आवास पर भी हुई
वहीं तीसरा पॉइंट ईडी ने बताया है कि नई आबकारी नीति को लेकर मीटिंग अरविंद केजरीवाल के घर पर भी हुई थी। और चौथा पॉइंट मनीष सिसोदिया के तत्कालीन सचिव सी अरविंद ने पूछताछ के दौरान बताया कि आबकारी नीति में 6% का मार्जिन प्रॉफिट था, जिसे अरविंद केजरीवाल की मंजूरी से ही 12% किया गया था। यानी आबकारी नीति बनाने में अरविंद केजरीवाल की भी भूमिका थी। इसके अलावा आखिरी पॉइंट नई आबकारी नीति को लेकर जो कैबिनेट बैठक हुई थी वह कैबिनेट बैठक मुख्यमंत्री द्वारा बुलाई जाती है। ईडी इन्हीं पांच पॉइंट्स को लेकर अरविंद केजरीवाल से पूछताछ करना चाहती है।